November 10, 2025 11:04 pm

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जम्मू-कश्मीर- सदन का सत्र शुरू होने से पहले महबूबा मुफ्ती ने कहा कि 13 जुलाई को मनाया जाए शहीद दिवस

श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर की पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने अपनी पार्टी के विधायकों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि 13 जुलाई के संबंध में उनका प्रस्ताव, विधानसभा सत्र में पारित होने वाला पहला प्रस्ताव हो. महबूबा मुफ्ती की पार्टी ने प्रस्ताव रखा है कि 13 जुलाई को शहीद दिवस के रूप में माना जाए और इस दिन एक बार फिर से घाटी में सभी को छुट्टी दी जाए.
महबूबा मुफ्ती ने अपने विधायकों से कहा है कि जम्मू-कश्मीर को जब राज्य का स्तर मिला हुआ था तब राज्य में 13 जुलाई को सार्वजनिक छुट्टी हुआ करती थी, लेकिन 2019 में जम्मू-कश्मीर में आर्टिकल 370 को रद्द कर दिया गया और इसकी स्थिति को केंद्र शासित प्रदेश में बदल दिया गया, इसी के बाद प्रशासन ने आधिकारिक स्मरणोत्सव 13 जुलाई को समाप्त कर दिया है.
जम्मू-कश्मीर विधानसभा का सत्र सोमवार से शुरू होने वाला है. इस सत्र के दौरान ही महबूबा मुफ्ती की पार्टी इस प्रस्ताव को पेश करने की मंशा बना रही है. जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने अपनी पार्टी के विधायकों से कहा, 13 जुलाई का दिन कश्मीर में महत्वपूर्ण ऐतिहासिक महत्व रखता है. यह 1931 का वह दिन है जब डोगरा महाराजा की राजशाही के दमनकारी शासन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान 22 कश्मीरी शहीद हो गए थे. इन शहीदों को औपनिवेशिक शासन के खिलाफ उनके प्रतिरोध के लिए याद किया जाता है, जो कश्मीरियों के लोकतंत्र और संवैधानिक अधिकारों के लिए लंबे समय से चले आ रहे संघर्ष का प्रतीक है.
मुफ्ती ने कहा कि छुट्टी रद्द करने के फैसले से व्यापक आक्रोश फैल गया है और इसे क्षेत्र की राजनीतिक कहानी को बदलने के व्यापक प्रयास के हिस्से के रूप में देखा जाता है. इस दिन की मान्यता बहाल करने की मांग करते हुए उन्होंने कहा कि यह कश्मीरियों के लिए गहरा प्रतीकात्मक महत्व रखता है.
सदन में 90 सदस्य हैं और इन में पीडीपी के तीन विधायक हैं, जिनमें से एक ने 13 जुलाई को सार्वजनिक अवकाश की बहाली की मांग करते हुए प्रस्ताव पेश किया है.
सत्तारूढ़ नेशनल कॉन्फ्रेंस के मुख्य प्रवक्ता तनवीर सादिक ने पीडीपी के कदम को स्क्रिप्टेड ड्रामा करार दिया है. सादिक ने बताया कि जब पीडीपी ने बीजेपी के साथ मिलकर जम्मू-कश्मीर में सरकार बनाई और महबूबा मुफ्ती सीएम थीं, तो उनके गठबंधन के कैबिनेट सहयोगियों ने एक बार भी 13 जुलाई के शहीदों को श्रद्धांजलि नहीं दी. एक्स पर एक पोस्ट में उन्होंने कहा, हम उन सभी छुट्टियों को बहाल करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, जिन्हें पीडीपी-बीजेपी सरकार और उसके बाद (यूटी) प्रशासन ने लोगों की सहमति के बिना खत्म कर दिया था. और हम जल्द ही ऐसा करेंगे.

salam india
Author: salam india

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