November 10, 2025 6:26 pm

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एयर इंडिया विमान हादसा: पायलट संगठनों ने प्रारंभिक रिपोर्ट में ‘पायलट की ग़लती’ के कयासों की निंदा की

नई दिल्ली: गुजरात के अहमदाबाद में 12 जून को एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (एएआईबी) की प्रारंभिक रिपोर्ट सामने आई है. इसके बाद पायलट संगठनों ने हादसे के लिए पायलट की गलती या आत्महत्या की आशंका जैसी अटकलों को ‘बेबुनियाद और गैर-जिम्मेदाराना’ करार दिया है.

एएआईबी की रिपोर्ट के मुताबिक, इस हादसे में कुल 260 लोगों की मौत हुई, जिनमें विमान में सवार  दोनों पायलट समेत 242 में से 241 यात्री शामिल थे.

रिपोर्ट में एक अहम तकनीकी जानकारी यह दी गई है कि विमान के दोनों इंजन के ‘फ्यूल कट-ऑफ स्विच’ (ईंधन बंद करने वाले स्विच) एक के बाद एक, एक सेकंड से भी कम अंतर में ‘रन’ से ‘कटऑफ’ मोड में चले गए. कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डिंग के अनुसार, उस वक्त एक पायलट दूसरे से पूछता है, ‘तुमने फ्यूल क्यों काटा?’, जिस पर दूसरा जवाब देता है, ‘मैंने नहीं किया.’ हालांकि, इन पंक्तियों के पहले और बाद की बातचीत का विवरण रिपोर्ट में नहीं दिया गया है.

रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, यह स्पष्ट नहीं है कि कौन-सा संवाद कप्तान का था और कौन-सा फर्स्ट ऑफिसर का, और ‘मेडे, मेडे, मेडे’ कॉल किस पायलट ने दी थी, इसकी भी जानकारी रिपोर्ट में नहीं है.

पायलट संगठन बोले: बिना पुष्टि के इस तरह के आरोप लगाना पेशे की गरिमा के खिलाफ 

भारतीय वाणिज्यिक पायलट संघ (आईसीपीए) ने ‘पायलट की जानलेवा चूक’ की थ्योरी को ‘बेतुका, असंवेदनशील और अनैतिक’ बताया है. संगठन ने मीडिया से संयम और सहानुभूति बरतने की अपील की है.

आईसीपीए के सदस्य लगभग 1,000 शेड्यूल्ड एयरलाइनों में कार्यरत पायलट हैं. आईसीपीए ने कहा, ‘बिना पुष्टि के इस तरह के आरोप लगाना न केवल पत्रकारिता के मानकों के खिलाफ है, बल्कि पेशे की गरिमा का हनन भी है.’

ज्ञात हो कि इस विमान को 56 वर्षीय सुमीत सभरवाल उड़ा रहे थे, जिनके पास 15,638 घंटे का उड़ान अनुभव था. उनके साथ 32 वर्षीय क्लाइव कुंदर थे, जिन्होंने 3,403 घंटे उड़ान भरी थी.

एयरलाइन पायलट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (एएलपीएआई) ने भी रिपोर्ट की ‘भाषा और रुख’ की आलोचना की है.  उन्होंने रिपोर्ट को ‘पायलट की गलती मानने के पूर्वाग्रह’ से प्रेरित बताया.

एएलपीएआई के अध्यक्ष सैम थॉमस ने कहा, ‘एएलपीएआई इस अनुमान को सिरे से खारिज करता है और निष्पक्ष तथा तथ्यों पर आधारित जांच की मांग करता है.’ संगठन ने यह मांग भी दोहराई कि विमान दुर्घटना की जांच प्रक्रिया में उन्हें कम से कम पर्यवेक्षक के रूप में शामिल किया जाए.

ज्ञात हो कि 12 जून को अहमदाबाद से लंदन जा रही एयर इंडिया की फ्लाइट उड़ान भरने के कुछ ही सेकेंड के भीतर दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी, जिसके बाद विमान में सवार 242 में से 241 लोगों की मौत हो गई थी. विमान एक मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल के ऊपर गिरा था, जिसके कारण वहां और आस पास के 19 और लोगों के जान जाने की रिपोर्ट आधिकारिक आंकड़ों में दर्ज है.

salam india
Author: salam india

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